उत्तराखंड विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूरी ने जांच कमेटी की सिफारिश पर साल 2012 से 2021 के बीच हुई 228 नियुक्तियों को रद्द करने का एलान किया है.
विधानसभा में हुई नियुक्तियों की जांच को लेकर बनाई गई तीन सदस्यीय कमेटी की जांच रिपोर्ट की सिफारिश पर स्पीकर खंडूरी ने इन नियुक्तियों को रद्द करने की बात की.
इसके साथ ही विधानसभा सचिव पद पर कार्यरत विवादित अधिकारी मुकेश सिंघल को भी निलंबित कर दिया गया है.
जो 228 नियुक्तियां रद्द हुई हैं उनमें 2012 से 2016 तक की 150, 2020 की 6 तथा 2021 में हुई 72 नियुक्तियां शामिल हैं.
स्पीकर खंडूरी ने बताया कि, चूंकि इन सभी नियुक्तियों को शासन का अनुमोदन प्राप्त था लिहाजा इन्हें रद्द करने के लिए तत्काल शासन को प्रस्ताव भेजा जाएगा जिसके बाद सभी नियुक्तियां रद्द हो जाएंगी.
विधानसभा में हुई नियुक्तियों की जांच को लेकर बनाई गई तीन सदस्यीय कमेटी ने बीती रात विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी को रिपोर्ट सौंपी थी. जांच कमेटी में डीके कोटिया (अध्यक्ष), एसएस रावत व अवनेंद्र सिंह नयाल शामिल थे.
खंडूरी ने कहा कि इन नियुक्तियों को अंजाम देने वाले सभी लोगों की भूमिका की जांच की जाएगी. स्पीकर ऋतु खंडूरी के इस बड़े एक्शन के बाद वर्तमान कैबिनेट मंत्री और पिछली सरकार के कार्यकाल में विधानसभा अध्यक्ष रहे प्रेमचंद अग्रवाल सवालों के घेरे में आ गए हैं.
गौरलतब है कि अग्रवाल ने अपने कार्यकाल के दौरान हुई 72 भर्तियों को सही बताया था लेकिन जांच रिपोर्ट में ये सभी भर्तियां नियमों के विपरीत पाई गई हैं.
2012 से पहले हुई भर्तियों की जांच को लेकर ऋतु खंडूरी ने कहा कि इसके लिए विधिक जांच के बाद अगला निर्णय लिया जाएगा.
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